पहला पन्ना

नीतीश कुमार के सिर चढ़ कर बोल रहा है फारबिसगंज गोली कांड का भूत

फारबिसगंज गोली कांड का भूत बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के सिर पर चढ़ कर बोल रहा है। इस गोलीकांड के बाद एक व्यक्ति के लाश पर एक जवान का उछलते हुये विजुअल्स इलेक्ट्रानिक मीडिया में में जिस तरह से लगातार दिखाया जाता रहा, वह घिन्न पैदा करने वाला था। चूंकि यह मामला अल्पसंख्यों से जुड़ा हुआ है, इसलिये इसका चौतरफा असर हुआ। राष्ट्रीय स्तर पर इस मामले को प्रचारित-प्रसारित गया, और सीधे नीतीश कुमार के सुशासन प्रश्नचिन्ह लगाया गया। उधर नीतीश कुमार चीन की सैर करते रहे और इधर बिहार में अल्पसंख्यकों के बीच लगातार लगातार यह धारणा बनती रही कि वर्तमान सरकार अल्पसंख्यक विरोधी है। चीन से वापस आते ही नीतीश कुमार को यह अहसास हो गया कि बिहार में अल्पसंख्यकों को उनके खिलाफ लामबंद किया जा रहा है। अब नीतीश कुमार जहां भी जा रहे हैं बस एक ही राग अलाप रहे हैं कि फारबिसगंज के मामले पर राज्य को अस्थिर करने की साजिश चल रही है, राज्य की जनता को सावधान रहने की जरूरत है।

हाल ही में पूर्णिया के चुनावी सभा में नीतीश कुमार अपने पूरे लाव लश्कर के साथ पहुंचे थे। उप मुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी और पशुपालन मंत्री गिरिराज सिंह भी इस लश्कर में शामिल थे। यहां की फिजाओं में तैर रही अल्पसंख्यक विरोधी विचारों को पलटने के लिए वे फारबिसगंज गोली कांड पर सफाई देते हुये नजर आये। इतना ही नहीं उन्होने पूर्णिया के मतदाताओं से यहां तक कहा कि आप सचेत हो जाये, कुछ लोग माहौल बिगाड़ने की कोशिश कर रहे हैं। इस मामले में सरकार दोषियों को  बख्शने के मूड में नहीं है। मामले की न्यायिक जांच का आदेश दे दिया गया है। जिसने भी अपराध किया है उसे छोड़ेंग नहीं। इंसाफ के बुनियाद पर सरकार चलती है।

इसी तरह श्रीकृष्ण मेमोरियल हॉल में जदयू द्वारा आयोजित अल्पसंख्यक सम्मेलन भी नीतीश कुमार ने फारबिसगंज गोलीकांड पर हो रहे बवाल पर सचेत रहने की बात दोहराई। इसके साथ ही उन्होंने भागलपुर दंगे पर की गई कार्रवाई का भी जिक्र करते हुये कहा कि 15 साल तक इस मामले में लिप्त दोषियों को बचाने की कोशिश की गई, जबकि उनकी सरकार ने पीड़ितों को न्याय दिलाने का काम किया है।  इधर राजद के राष्ट्रीय प्रवक्ता शकील अहमद फारबिसगंज के न्यायिक जांच पर ही सवाल उठा रहे हैं। उनका कहना है कि नीतीश कुमार अल्पसंख्यकों के हितों को भाजपा के हाथों में गिरवी रख दिया है। पूर्णया का चुनाव परिणाम नीतीश कुमार के लिए एक सबक साबित होने जा रहा है। मुस्लिम यूनाइटेड फ्रंट भी फारबिसगंज गोली कांड के विरोध में अभियान चलाये हुये है। पटना के कारगिल चौक पर धरना पर बैठे मुस्लिम नेताओं का कहना है कि सरकार इस मामले में न्याय का ढोंग कर रही है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button