हार्ड हिट

सामंती-अपराधियों का तांडव और नीतीश वर्चुअल रैली में व्यस्त : माले

पटना। भाकपा-माले राज्य सचिव कुणाल ने भोजपुर जिले के एकवारी में 70 वर्षीय नथुनी रवानी और पूर्णिया के बनमनखी के जानकीनगर में अनमोल ऋषिदेव व सुबोध ऋषिदेव की बर्बर हत्या पर कड़ा एतराज जताया है। ये हत्याएं बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार द्वारा की जाने वाली वर्चुअल रैली के दो दिन पहले घटित हुई है। 7 सितंबर को अपनी वर्चुअल रैली में सरकार ने पूरे प्रशासन को झोंक दिया है और इधर सामंती-अपराधी दलित-गरीबों पर कहर बनकर टूट पड़े हैं। उन्होंने कहा कि चुनाव में भाजपा-जदयू सरकार को बिहार की जनता निश्चित तौर पर सबक सिखाएगी।

सहार के एकवारी में घटना की जानकारी मिलते ही तरारी विधायक सुदामा प्रसाद, मनोज मंजिल, रघुवर पासवान सहित सभी वरिष्ठ नेता घटनास्थल पर पहुंच गए। माले विधायक सुदामा प्रसाद ने बताया कि रात दो बजे सोई अवस्था में नथुनी रवानी की हत्या कर दी गई। हमले में उनकी बहू को भी गोली लगी है, जो गोली चलने की आवाज सुनकर बाहर आई थीं और अभी आरा सदर अस्पताल में भर्ती हैं।

माले नेताओं ने बताया कि घटना में शामिल चार लोगों में 2 लोगों की गिरफ्तारी हुई है। माले नेताओं ने सभी घायलों को मुआवजा और मुख्यमंत्री द्वारा हाल ही में दिए गए आदेश, जिसमें उन्होंने कहा था कि किसी दलित-गरीब परिवार में हत्या होने पर एक व्यक्ति को सरकारी नौकरी दी जाएगी, के तहत नौकरी की मांग करते हुए घंटों मुख्य पथ को जाम रखा। जाम स्थल पर एएसपी के आने और यथोचित मुआवजा देने के बाद जाम समाप्त किया गया।

घटना में मारे गए नथुनी रवानी के पुत्र संतोष रवानी ने घटना का कारण बताते हुए कहा कि संतोष रवानी सटरिंग का काम करते हैं। जबकि पूरी पूंजी ठेकेदार सुदर्शन सिंह की लगी हुई है। सुदर्शन सिंह ने संतोष रवानी को एक मोटरसाईकिल भी खरीद कर दी है। लेकिन 4 सितंबर को किसी विवाद को लेकर सुदर्शन सिंह का भतीजा मोटरसाइकिल छीनने आ पहुंचा, जिसको लेकर झंझट हुआ। वहां से संतोष रवानी किसी प्रकार जान बचाकर भागे। संभवतः हत्यारे संतोष रवानी की ही हत्या करने पहुंचे थे लेकिन उनके पिता को गोली मारकर चलते बने।

वहीं, बनमनखी में सामंती-अपराधियों ने भूमि से ऋषिदेव लोगों को बेदखल करने की मंशा से ऋषिदेव टोले पर हमला किया और दो लोगों की हत्या कर दी। भाकपा-माले के स्थानीय नेता नित्यानंद ऋषिदेव व चनेश्वरी ऋषिदेव घटना स्थल पर पहुंचे हैं और मामले की पूरी जानकारी ले रहे हैं।

editor

सदियों से इंसान बेहतरी की तलाश में आगे बढ़ता जा रहा है, तमाम तंत्रों का निर्माण इस बेहतरी के लिए किया गया है। लेकिन कभी-कभी इंसान के हाथों में केंद्रित तंत्र या तो साध्य बन जाता है या व्यक्तिगत मनोइच्छा की पूर्ति का साधन। आकाशीय लोक और इसके इर्द गिर्द बुनी गई अवधाराणाओं का क्रमश: विकास का उदेश्य इंसान के कारवां को आगे बढ़ाना है। हम ज्ञान और विज्ञान की सभी शाखाओं का इस्तेमाल करते हुये उन कांटों को देखने और चुनने का प्रयास करने जा रहे हैं, जो किसी न किसी रूप में इंसानियत के पग में चुभती रही है...यकीनन कुछ कांटे तो हम निकाल ही लेंगे।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button