29 C
Patna
Thursday, May 2, 2024

हिन्दी और पेंटिंग से प्रेम है फ्रोसो विजोतोसु को

0
‘मैं एक यात्री हूं और यात्रा करना पसंद करती हूं। भारत आना मुझे बेहद पसंद है। यहां मैं तीसरी बार आई हूं और बार...

लिखने की जरूरत वैसे ही है जैसे मातृत्व की है :...

0
आलोक नंदन समाज में महिलाओं को लेकर कई मिथक टूट चुके हैं और कई टूटने के कगार पर हैं। यह सच है कि आज भी...

महिलाओं को कब मिलेगा अश्लील फब्तियों से छुटकारा ?

20
देश में बहुत सारे छोटे-बड़े रेलवे स्टेशन हैं जहां महिलाओं के लिए अलग से टिकट कटवाने के लिए कोई काउंटर नहीं है। इन काउंटरों...

कितने बलात्कार का गवाह बनेगा बिहार?

4
सुशासन की सरकार में बिहार शरीफ में एक छात्रा से सामुहिक बलात्कार और जलाये जाने की  घटना ने लोगों को सकते में डाला ही...

अंधविश्वास 21 वीं सदी में भी साथ छोड़ने को तैयार नहीं

8
अनिता गौतम// आज जहां विश्व पटल पर दुनिया के वैज्ञानिक ब्रह्मांड की उत्पत्ति वाले कण की खोज कर भगवान के करीब पहुंचने का दावा कर...

निर्भया: बार-बार लगातार !

0
संतोष सिंह, निर्भया  एक बार फिर चर्चा में है,  लोगों का आक्रोश उसी तरह सड़कों पर दिख रहा है, जैसा दिल्ली में दिखा था। दिल्ली...

फौलादी इरादों वाली ‘लौह महिला’

0
ब्रिटेन की पूर्व प्रधानमंत्री मार्गरेट थैचर अपने फौलादी इरादों से न सिर्फ ब्रिटेन की राजनीति को एक नई दिशा देने में कामयाब रहीं बल्कि...

कुप्रथाओं की जंजीरों में मानवाधिकार

3
डॉ. अर्चना ,व्याख्याता ,  पटना वीमेंस कॉलेज , पटना विश्वविद्यालय , पटना । भारतीय समाज में शताब्दियों से प्रचलित कुछ कुप्रथाएं ऐसी हैं जिनसे बहुत बड़े स्तर...