इन्फोटेन

आम्रपाली दुबे और आर के शुक्ला की फिल्म ‘धर्म-अधर्म’ का मुहूर्त मुम्बई मे

शिवराम फिल्म एंटरटेनमेंट के बैनर तले बनने जा रही फिल्म ‘धर्म-अधर्म का मुहूर्त मुंबई में बड़े ही धूम-धाम से किया गया। फिल्म में भोजपुरी फिल्मो की सुपरस्टार एक्ट्रेस आम्रपाली दुबे मुख्य भूमिका में नजर आएगी। फिल्म के मुहूर्त के मौके पर आम्रपाली दुबे सहित फिल्म से जुड़े कई सदस्य शामिल हुए। फिल्म का मुहूर्त विधिवत पूजा-पाठ करके सम्पन्न किया गया।

फिल्म के निर्माता शिवराम और लेखक निर्देशक आर के शुक्ला भी इस खास मौके पर मौजूद थे। मुहूर्त के मौके पर आम्रपाली दुबे ने मीडिया से बात करते हुए अपनी इस फिल्म को लेकर अपनी ख़ुशी जाहिर की। साथ ही कई दिनों बाद एक कांसेप्ट पर काम कर रही है इस बात को लेकर उत्त्साह भी जताया। फिल्म के निर्माता और निर्देशक के साथ अपनी फिल्म ‘धर्म-अधर्म’ को लेकर अपनी खास प्रतिक्रिया भी शेयर की।

वही फिल्म के निर्माता शिवराम ने फिल्म के मुहूर्त पर अपनी टीम से जुड़े लोगो के बारे में मीडिया को बताया और साथ ही फिल्म को लेकर अपनी खास सोच प्लानिंग के बारे में भी बाते की। वही लेखक निर्देशक आर के शुक्ला ने फिल्म की एक्ट्रेस आम्रपाली दुबे और अपनी टीम से जुड़े बाकि कलाकारों के नाम से भी परदा हटाया और बताया की इस फिल्म में अभी तक मुख्य अभिनेता का चयन नहीं किया गया है लेकिन फिल्म से जुड़े कई कलाकारों का चयन कर लिया गया है।

फिल्म के गानो की रिकॉर्डिंग की तैयारी भी शुरू कर दी गई है। गाने सभी कर्णप्रिय है जिसमे संगीत सावन कुमार का दिया गया है वही कैमरामैन विजय आर पांडेय है। डांस को कोरोग्राफ करेंगे संतोष सूर्यवंशी। और एक्शन मास्टर होंगे हीरा लाल यादव। फिल्म के एक्सेक्यूटिव प्रोडूसर राकेश कुमार पांडेय है और कॉस्टूयम फरदीन शेख़ द्वारा किया जाएगा। फिल्म के पीआरओ संजय भूषण पटियाला है।

फिल्म के कलाकारों की बात की जाए तो फिल्म में आम्रपाली दुबे के साथ संजय पांडेय ,सत्य प्रकाश सिंह,एहसान खान,ब्रजेश त्रिपाठी ,लोटा तिवारी, बबलू पंडित,विवेक पांडेय, राकेश कुमार पांडेय, विजय वर्मा, डॉ. देवेंद्र कुमार, महिमा गुप्ता, नीलम पांडेय,सूरज कुमार,डॉ.वीरेंद्र त्रिपाठी, पंकज सोनी भी शामिल है।

editor

सदियों से इंसान बेहतरी की तलाश में आगे बढ़ता जा रहा है, तमाम तंत्रों का निर्माण इस बेहतरी के लिए किया गया है। लेकिन कभी-कभी इंसान के हाथों में केंद्रित तंत्र या तो साध्य बन जाता है या व्यक्तिगत मनोइच्छा की पूर्ति का साधन। आकाशीय लोक और इसके इर्द गिर्द बुनी गई अवधाराणाओं का क्रमश: विकास का उदेश्य इंसान के कारवां को आगे बढ़ाना है। हम ज्ञान और विज्ञान की सभी शाखाओं का इस्तेमाल करते हुये उन कांटों को देखने और चुनने का प्रयास करने जा रहे हैं, जो किसी न किसी रूप में इंसानियत के पग में चुभती रही है...यकीनन कुछ कांटे तो हम निकाल ही लेंगे।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button