किसानों का भला होते नहीं देख सकती कांग्रेस : रवि शंकर

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कृषि बिल पर विपक्ष द्वारा फैलाई जा रही भ्रांतियों पर केंद्रीय मंत्री रवि शंकर प्रसाद ने जमकर हमला बोला।  भाजपा मीडिया सेंटर में शुक्रवार को संवाददाताओं को संबोधित करते हुये  उन्होंने कांग्रेस पर जोरदार हमला करते हुये कहा कि कांग्रेस किसानों का भला होते नहीं देख सकती।

उन्होंने कहा कि किसानों के संबंध में जो तीन कानून संसद द्वारा पारित हुए है, वे पूर्ण रूपेण किसानों के हित में है। देश के 86 प्रतिशत छोटे और मझौले किसान और बड़े किसानों को बिचौलिए और पारंपरिक मंडियों के जकड़न से मुक्त कर उनकी फसल को भारत में कहीं बेचने और अच्छी कमाई करने का अवसर प्रदान करता है। जो इसका विरोध कर रहे है वो किसानों के हितैषी नहीं बल्कि बिचौलिए और किसानों का शोषण करनेवालों के साथ खड़े है।

उन्होंने कहा कि किसानों के एमएसपी पर कोई समझौता नहीं होगा और नरेन्द्र मोदी सरकार प्रतिबद्ध है कि ये हमेशा मिलता रहेगा और इसमें लगातार बढ़ोतरी भी होगी।

उन्होंने कहा कि किसान या व्यापारी स्वतंत्र होगा कि वह किसानों की उपज एक राज्य के अंदर अथवा अंतर राज्य स्तर पर कहीं भी इसे बेच सकता है और किसानों को उपलब्ध लाभकारी मूल्य मिल सकता है। किसानों के संगठन कृषि सहकारी समिति या किसानों के द्वारा संगठित कोई भी संस्था व्यापार कर सकती है। जो भी व्यापारी किसानों के साथ उनके फसल में व्यापार करता है उनकों तीन दिनों के अंदर उसका भुगतान करना होगा।

मंडी क्षेत्र से बाहर में व्यापार या फसलों के बेचने के कारण कोई भी मार्केट फीस, सेस अथवा शुल्क नहीं लगेगा।

उन्होंने कहा कि किसानों से संबंधित विवाद के निपटारे के लिए एक समझौता बोर्ड की भी स्थापना की जाएगी जिसमें समय से भुगतान न करन पर व्यापारी पर पेनाल्टी का भी प्रावधान है।

उन्होंने कहा कि एक कानूनी फ्रेम वर्क बनाया गया है ताकि किसानों और उनकी फसल के  प्रायोजक के बीच में एक समझौता हो। केन्द्र सरकार के द्वारा एक मॉडल एग्रीमेंट भी बनाया जाएगा ताकि किसानों को सुविधा हो। इसमें दोनों प्रावधानों होंगे जिससे किसान अपने फसल के उत्पादन को तैयार होने तक अपने पास रखेगा अथवा प्रायोजक उसको कृषि का व्यय या फसल के क्षति/नुकसान के संबंध में सुरक्षा भी देगा।  किसानों की जमीन के बिक्री, लीज अथवा मॉरगेज पर पूरा प्रतिबंध रहेगा और किसी वसूली के संबंध में उसके खेत पर कोई कार्रवाई नहीं होगी।   इस समझौते से किसानों को बीमा और पर्याप्त ऋण के अवसर मिलेंगे। साथ ही व्यापक पूँजी निवेश होगा।

उन्होंने कहा कि किसानों को टेक्नोलॉजी की सुविधा प्रायोजकों के द्वारा मिलेगी जिससे उसके फसल की उत्पादन क्षमता बढ़ेगी और एक तैयार बाजार भी उपलब्ध होगा।

उन्होंने कहा कि  कांग्रेस पार्टी और उसके समर्थक दलों के दोहरे मानदंड है और पूर्व में इन सुधारों की शुरूआत और समर्थन के बावजूद वो मात्र मोदी विरोध के लिए किसान विरोधी हो गए है।  2019 के अपने घोषणा पत्र मे कांग्रेस पार्टी ने साफ कहा था कि वह कृषि उत्पाद, व्यापार कमेटी नियमों में अन्तरराष्ट्रीय प्रतिबंधों को समाप्त करेगी। कांग्रेस पार्टी ने यह भी घोषणा किया था कि वे किसान बाजार स्थापित करेंगे ताकि बिना किसी नियंत्रण के किसान अपनी फसल को बेच सके।

रविशंकर प्रसाद ने कहा कि कांग्रेस पार्टी शासित प्रदेश के सरकारों ने एपीएससी कानून मे बदलाव कर कॉन्ट्रैक्ट फार्मिग को वैधानिक मान्यता दी थी। जैसे हरियाणा 2007, कर्नाटक 2003, महाराष्ट्र 2006।  हरियाणा के कांग्रेस के मुख्यमंत्री भूपेंद्र हुड्ढा ने 2007  से ही कॉन्ट्रैक्ट फार्मिंग कि अनुमति दी है।  उन्होंने कहा कि  नरेन्द्र मोदी सरकार न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) किसानों को देने के लिए प्रतिबद्ध है।केन्द्र सरकार ने स्वामीनाथन कमेटी की अनुशंसा मानते हुए एम.एस.पी. को हमेशा आगे बढ़ाया है।

 

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