टेक्सटाइल उद्योग के लिए बिहार आदर्श डेस्टिनेशन : संदीप पौण्डरीक

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अंतर्राष्ट्रीय सेमिनार में बिहार की भागीदारी

अंतर्राष्ट्रीय निवेशकों को दी गई बिहार में टेक्सटाइल क्षेत्र में निवेश-सुविधाओं की जानकारी

पटना 13 नवंबर.टेक्सटाइल एसोसिएशन ऑफ इंडिया तथा एशियन पॉलीमर एसोसिएशन द्वारा टेक्सटाइल के क्षेत्र में आधुनिक तकनीकी विषय पर अंतर्राष्ट्रीय कांफ्रेंस का आयोजन किया गया जिसमें फाइबर टैक्सटाइल, डिजाइनिंग, स्मार्ट फैशन गारमेंटिंग, बायो और मेडिकल टेक्सटाइल, सिविल तथा जियोटेक्सटाइल, टेक्सटाइल की प्रोसेसिंग सहित कई विषयों पर तकनीकी सत्रों का आयोजन किया गया।भारत में एक्टिव वियर विषयक तकनीकी सत्र में उद्योग विभाग के प्रधान सचिव संदीप पौण्डरीक, मीरा कॉटन के निदेशक जय जयेश शाह, ब्लिस्स क्लब के ग्लोबल रिसॉर्स मैनेजर अनिल राणा और हरेन टेक्सटाइल के निदेशक हरित मेहता ने भाग लिया।

बिहार के उद्योग विभाग के प्रधान सचिव संदीप पौण्डरीक ने इस सत्र में बिहार में उपलब्ध आधारभूत संरचना तथा टेक्सटाइल इंडस्ट्री के लिए विशेष सुविधाओं की विस्तार से चर्चा की। उन्होंने कहा कि बिहार में टेक्सटाइल और लेदर इंडस्ट्री लगाने के कई रणनीतिक फायदे हैं। बिहार में पर्याप्त मात्रा में स्किल्ड और अनस्किल्ड श्रम की मौजूदगी के साथ-साथ लोकेशनल एडवांटेज भी है। बिहार में किसी वस्तु का उत्पादन करके उसे कम परिवहन खर्च पर करीब 60 करोड़ उपभोक्ताओं तक पहुंचाया जा सकता है। उन्होंने कहा कि बिहार में उद्योगों के लिए पानी और बिजली भरपूर मात्रा में उपलब्ध है। बिहार की टेक्सटाइल और लेदर नीति- 2022 में किए गए प्रावधान काफी आकर्षक हैं। टेक्सटाइल और लेदर इंडस्ट्री के नए उद्योगों के लिए कैपिटल सब्सिडी के साथ-साथ मानव संसाधन के प्रशिक्षण और एंप्लॉयमेंट सब्सिडी की व्यवस्था भी की गई है। निर्यात के लिए उत्पादन करने पर बिहार द्वारा ट्रांसपोर्टेशन खर्च में भी सब्सिडी प्रदान की जा रही है।

उन्होंने कहा कि बिहार के औद्योगिक क्षेत्रों की जमीन की कीमत में 20 से 80% की कमी की गई है। जो उद्यमी बिहार में तुरंत अपना टेक्सटाइल और लेदर उद्योग लगाना चाहते हैं, उनके लिए 13 स्थानों पर मूलभूत सुविधाओं से युक्त औद्योगिक शेड 4 से ₹6 प्रति वर्ग फीट के मासिक शुल्क पर उपलब्ध कराया जा रहा है। वेबिनार में दिल्ली,लुधियाना, मुंबई, जयपुर, सूरत, अहमदाबाद सहित अनेक शहरों के उद्योगपतियों ने हिस्सा लिया।
इसके अलावा स्विटजरलैंड, बेल्जियम, ताइवान, यूनाइटेड किंगडम, जर्मनी आदि देशों के निवेशकों ने भी बिहार में उपलब्ध आधारभूत सुविधाओं तथा उद्योग विभाग की प्रोत्साहन नीतियों के बारे में जानकारी प्राप्त की।

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